अमन-चैन और भाईचारे का पैगाम देता निकला जुलूस-ए-मोहम्मदी

सक्ती। ईद मिलादुन्नबी के मौके पर नगर में मुस्लिम समाज द्वारा जुलूस-ए-मोहम्मदी बड़े ही उत्साह और श्रद्धा के साथ निकाला गया। जुलूस में बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए। मक्का और मदीना की भव्य झांकियां आकर्षण का केंद्र बनीं। बच्चे, युवा और बुजुर्ग सभी नबी की शान में नारे लगाते और नात शरीफ पेश करते हुए नगर भ्रमण करते रहे।
जामा मस्जिद में मांगी गई अमन-चैन की दुआ
जुलूस नगर भ्रमण करता हुआ जामा मस्जिद सक्ती पहुंचा। यहां पेश इमाम हजरत सैफुल्लाह मिस्बाही ने उम्दा आवाज में सलाम पढ़ा और मुल्क की अमन-चैन, खुशहाली व भाईचारे की दुआ मांगी। इस दौरान तमाम मुस्लिम भाइयों ने हाथ उठाकर दुआ में शरीक होकर ईद मिलादुन्नबी की मुबारकबाद दी। नबी-ए-पाक हजरत मोहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम एवं गौस-ए-पाक की मुए मुबारक की जियारत कराई गई, जिसमें लोगों ने पाक-साफ होकर दुरूद शरीफ पढ़ा और अपनी-अपनी मुरादें मांगीं।
झांकियां बनी आकर्षण का केंद्र
जुलूस में मक्का और मदीना की झांकियां विशेष आकर्षण का केंद्र बनीं। नगरवासियों ने जगह-जगह जुलूस का स्वागत किया और मोहम्मद साहब की शिक्षाओं को याद किया।
सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद
जुलूस के दौरान पुलिस प्रशासन के जवान और महिला पुलिस पूरी मुस्तैदी से तैनात रही। सुरक्षा व्यवस्था बनाए रखने में पुलिस प्रशासन का योगदान सराहनीय रहा।
स्वागत और सहभागिता
हटरि चौक में अग्रवाल समाज द्वारा फूल बरसाकर जुलूस का स्वागत किया गया। वहीं नगर के प्रमुख मुस्लिम समाजजन हाजी तैय्यब अली रिज़वी, हाजी वाहेद खान, हाजी मुनव्वर वारसी, हाजी गुलाम नबी सहित बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए।
जुलूस का उद्देश्य
इस जुलूस का उद्देश्य नबी-ए-पाक की शिक्षाओं और उनके जीवन से प्रेरणा लेकर समाज में भाईचारा, आपसी सौहार्द और शांति का संदेश देना रहा।