धान खरीदी में अनियमितता, कलेक्टर के निर्देश पर जांच करने पहुंचे अधिकारी, फड़ में 2914 कट्टी धान का मिला अवैध संग्रहण

सकर्रा- कलेक्टर के निर्देश पर आमनदुला धान खरीदी केंद्र पर पहुंचे खाद्य निरीक्षक एसडीएम ने भौतिक सत्यापन करने पर बड़ी गड़बड़ी पाई गई है। मौके पर भौतिक सत्यपान करने पर 2914 कट्टी धान अधिक पाया गया है। खरीदी प्रभारी राजकुमार चंद्रा द्वारा मनमानी करते हुए बिचौलियों के अवैध धान खरीदी करने की शिकायत लगातार पहुंच रही थी। जिस पर कलेक्टर अमृत विकास तोपनों द्वारा एसडीएम, नोडल अधिकारी एवं खाद्य निरीक्षकों को निर्देश कर धान उपार्जन केंद्र में निरीक्षण कर भौतिक सत्यापन के निर्देश दिए गए जहां पर मालखरौदा एसडीएम एवं खाद्य अधिकारी ने खरीदी केंद्र आमनदुला का निरीक्षण कर जांच भौतिक सत्यापन किया गया। वही मौके पर खाद्य अधिकारी जितेंद्र दिनकर आरईओ द्वारा भौतिक सत्यापन जांच में धान खरीदी से 2914 कट्टी अवैध धान अधिक पाया गया।
–खरीदी प्रभारी द्वारा किसानों को किया जा रहा है शोषण तौल से अधिक पाया गया धान
मौके पर जांच में पहुंचे अधिकारियों को जांच में ये पता चला की किसानों से निर्धारित तौल से अधिक धान लेकर उनका शोषण किया जा रहा है। वही अधिकारीयों द्वारा तौल कर जांच करने पर सभी धान कट्टियों में निर्धारित धान तौल से अधिक पाया गया। जिसे तत्काल जब्ती पंचनामा तैयार कर अग्रिम कार्यवाही के लिए जांच प्रतिवेदन उच्च अधिकारियों को सौपा गया है।
—अपने आप को पहुंचे फकीर बताने वाले प्रभारी को तत्काल हटाने की किसानों की मांग
वही उक्त केंद्र में खरीदी केंद्र में एक अनाधिकृत ऊलजुल कहीं तोले के नाम पर कहीं भारी के नाम पर कहीं कांटा करने के नाम पर कहीं सिलाई के नाम पर अवैध वसूली की जा रही है। सबसे बड़ी बात तो यह है कि यह सारा खेल खरीदी केंद्र प्रभारी राजकुमार चंद्रा के शह पर चल रहा है उपार्जन केंद्र आमनदुला में धान बेचने आए किसानों ने नाम ना छापने की शर्त पर बताया कि हम यहां पर अपना धान बेचने आए हैं हमसे 41 किलो 200 ग्राम धन लिया जा रहा है और परेशान किया जा रहा है एक तरफ तो सरकार खेती को लाभ का धंधा बनाने के कसीदे पड़ती है और इसके लिए लाखों रुपए खर्च भी करती है लेकिन यहां पर इन मजबूर और मजदूर किसानों से खुली लूट की जा रही है। जिसका कोई धनी धोरी नहीं सूत्रों की माने तो राजकुमार चंद्रा खरीदी प्रभारी जब से खरीदी कर रहे है तब से यहां पर इसी तरह का भ्रष्टाचार चल रहा है और किसान परेशान है। जानकारों का कहना है कि समीपस्थ कुछ दूरी के गांव करीगांव निवासी होने के कारण अपने आप को बड़ा पहुंचे फकीर बताते हैं जिस स्थिति में किसानों की मांग है की कि खून पसीने की गाढ़ी कमाई को लूटने वाले और अपने पद का दुरुपयोग कर शासन की धान उपार्जन जैसी महत्वाकांक्षा परियोजना में पलीता लगाने वाले ऐसे भ्रष्ट प्रभारी को तत्काल यहां से हटाकर समिति में पदस्थ उक्त नियुक्त प्रभारी की संपूर्ण जांच कर दंडित किया जाए।
–विक्रेता को दे दी गई बड़ी जिम्मेदारी
मिली जानकारी के अनुसार उक्त खरीदी प्रभारी राजकुमार चंद्रा का मूल पद पोता समिति में विक्रेता है जिसने साठ-गांठ कर खरीदी प्रभारी बनने में सफलता प्राप्त कर ली। जिसमें वास्तविकता वाली यह बात है कि एक विक्रेता के पद पर काम करने वाले कर्मचारी को उपार्जन केन्द्र प्रभारी की बड़ी जिम्मेदारी सौंप दिया। वह भी एक बड़े केन्द्र का प्रभारी बना दिया गया। ऐसे दागी प्रभारियों को लाने से यदि केंद्र में जीरो सार्टेज नहीं आने पर शासन को होने वाले लाखों रुपयें नुकसान की जिम्मेदारी किसकी होगी। यह समझ से परे है।
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जांच में 2914 कट्टी ख़रीदे धान से अधिक पाई गई है वही अन्य गड़बड़ी मिला है अग्रिम कार्यवाही के लिए जांच प्रतिवेदन उच्च अधिकारियों को सौंप दिया गया है।
जितेन्द्र दिनकर
खाद्य अधिकारी, मालखरौदा
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